हरियाणा में पौधारोपण करने पर मिलेगा पैसा, पहले बनना होगा वन मित्र; इस पोर्टल पर दें रिपोर्ट

चंडीगढ़ | हरियाणा सरकार द्वारा सामुदायिक भागीदारी और वृक्षारोपण को बढ़ाने के लिए वन मित्र योजना शुरू की गई है. नागरिक संसाधन सूचना विभाग द्वारा संधारित परिवार पहचान पत्र के डेटा से 1.80 लाख रुपये से कम वार्षिक आय वाले पात्र परिवारों और व्यक्तियों की पहचान की जाएगी और योजना में भाग लेने के लिए पात्रता के बारे में विभिन्न माध्यमों से परिवारों को जानकारी दी जाएगी.

Plantation

इस संदेश के माध्यम से हितधारकों को योजना के वन मित्र पोर्टल और मोबाइल ऐप पर पंजीकरण प्रक्रिया के बारे में जागरूक किया जाएगा. इसी प्रकार पंजीकरण के लिए पात्र परिवारों को वन मित्र मोबाइल ऐप पर परिवार के पात्र सदस्य द्वारा लगाए जाने वाले पौधों की संख्या दर्ज की जाएगी, जिसकी अधिकतम सीमा 1000 होगी. पंजीकृत आवेदकों में से आवेदकों को प्राथमिकता दी जाएगी. कम पारिवारिक आय और आयु वाले आवेदक. रजिस्ट्रेशन के लिए आप वन मित्र पोर्टल पर लॉगइन कर सकते हैं.

वन मित्र की भूमिका और जिम्मेदारियां

वृक्षारोपण को लेकर वन मित्र को भूमि की पहचान करनी जरूरी है. यदि वृक्षारोपण के लिए चिन्हित भूमि वन मित्र के स्वामित्व में नहीं है, तो उसे वृक्षारोपण के लिए आवश्यक गड्ढे खोदने और गड्ढों में पेड़ लगाने और मानक में निहित विशिष्टताओं के अनुसार उनका रखरखाव करने के लिए मालिक से लिखित अनुमति प्राप्त करनी होगी. वन मित्रों को पौधारोपण के लिए सलाह दी जाएगी.

समयरेखा और गतिविधियां

प्रथम वर्ष में पंजीकरण, चयन एवं प्रशिक्षण फरवरी एवं मार्च में दिया जायेगा. वृक्षारोपण के लिए गड्ढे खोदने का कार्य 10 जून तक पूरा किया जाएगा, रोपण की अवधि 1 जुलाई से 15 अगस्त तक होगी. वृक्षारोपण का सत्यापन और जियो टैगिंग 31 अगस्त तक पूरा किया जाएगा. वहीं, वृक्षारोपण का रखरखाव और संरक्षण सितंबर से अप्रैल तक किया जाएगा. इसी प्रकार दूसरे, तीसरे एवं चौथे वर्ष में वृक्षारोपण का रख- रखाव एवं संरक्षण का कार्य वन मित्र द्वारा किया जायेगा.

इतना मिलेगा मानदेय

प्रथम वर्ष के दौरान जून के अंतिम सप्ताह तक जियो- टैगिंग के बाद 20 रुपये प्रति गड्ढा और वन मित्र द्वारा गड्ढों की तस्वीर मोबाइल ऐप पर अपलोड करने, वन मित्र द्वारा लगाए गए पौधे की जियो- टैगिंग के बाद 30 रुपये प्रति गड्ढा, जुलाई और अगस्त का अंतिम सप्ताह सितंबर माह से माह के अंतिम सप्ताह तक वृक्षारोपण के रख- रखाव एवं संरक्षण के लिए प्रति जीवित पौधा 10 रुपये दिये जायेंगे.

इसी प्रकार दूसरे वर्ष में वन मित्र को प्रत्येक माह के अंतिम सप्ताह में प्रति जीवित पौधा 8 रुपये, तीसरे वर्ष में प्रत्येक माह के अंतिम सप्ताह में 5 रुपये प्रति जीवित पौधा और चौथे वर्ष में प्रति जीवित पौधा दिया जायेगा. प्रत्येक माह के अंतिम सप्ताह में वन मित्र को प्रति जीवित पौधा 3 रुपये दिये जायेंगे.

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