हरियाणा की शकीरा गाय ने पूरे एशिया में मचाई धूम, 24 घंटे में दिया रिकॉर्ड 80 लीटर दूध

करनाल | ‘देशां में देश हरियाणा- जित दूध- दही का खाना’ इस कहावत को चरितार्थ करने में यहां अच्छी किस्म और ज्यादा दूध देने वाले पशु महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रहे हैं. इन्हीं की बदौलत दूध उत्पादन में हरियाणा की गिनती देश के अग्रणी राज्यों में होती है. इसी कड़ी में करनाल जिले के गांव झिझाड़ी के रहने वाले पशुपालक सुनील और शैंकी की गाय शकीरा ने कुरूक्षेत्र में आयोजित पशु मेले में दूध उत्पादन में एक बहुत ही बड़ी उपलब्धि हासिल की है. इस मेले में गाय ने 24 घंटे में दूध देने के सारे रिकॉर्ड ध्वस्त कर दिए हैं.

Karnal Cow Shakina Milk Record

एशिया का नया रिकॉर्ड बनाया

सुनील और शैंकी नाम के दोनों भाईयों की शकीरा मिलकिंग चैंपियन नाम की गाय ने 24 घंटे में 80 लीटर 756 ग्राम दूध निकाला है. 24 घंटे में इतनी बड़ी मात्रा में दूध देने का यह रिकॉर्ड हिंदुस्तान ही नहीं बल्कि एशिया में भी सबसे ज्यादा दूध देने वाली गाय बन गई है. दोनों भाईयों ने बताया कि वो पिछले 12 सालों से डेयरी फार्म चला रहे हैं और मौजूदा समय में उनके पास 100 से ज्यादा छोटे-बड़े पशु है.

होल्स्टीन फ्रिसियाई नस्ल की गाय

सुनील ने बताया कि उनके पिता ने खेती के साथ अतिरिक्त आमदनी के उद्देश्य से पशुपालन का काम शुरू किया था. बाद में उन्होंने पशुपालन को बेहतर तरीके से करने के लिए डेयरी फार्म स्थापित किया. उन्होंने बताया कि शकीरा मिलकिंग चैंपियन नाम की गाय साढ़े 6 साल की है. अबकी बार चौथी बार बच्चा होने के बाद दूध दे रही है. ये HF यानी Holstein Friesian नस्ल की गाय है. जिसकी लंबाई करीब 165 सेंटीमीटर और ऊंचाई 145 सेंटीमीटर होती है.

कई पुरस्कार जीत चुकी है गाय

पशुपालक शैंकी ने बताया कि इस नस्ल की गाय सबसे ज्यादा दूध देती है. इस गाय को खाने में हरा और सूखा चारा तथा साथ में फीड दी जाती है. इस गाय का पालन- पोषण वो अपने परिवार के सदस्यों की तरह करते हैं. उन्होंने बताया कि वो दोनों भाई विशेष तौर पर एचएफ नस्ल की गाय की ब्रीडिंग पर काम कर रहे हैं. सुनील ने बताया कि हाल ही में आयोजित हुई एक दुग्ध प्रतियोगिता में शकीरा ने दूध देने में प्रथम स्थान हासिल कर बुलेट बाइक बतौर इनाम जीती थी. इससे पहले भी उनकी गाय कई इनाम जीत चुकी है.

24 घंटे में तीन बार निकालते हैं दूध

उन्होंने बताया कि शकीरा गाय का एक दिन में तीन बार दूध निकाला जाता है. 8-8 घंटे के अंतराल में दूध निकाला जा रहा है. उन्होंने कहा कि दूध ज्यादा होने के चलते मशीन के साथ उनका दूध निकाला जाता है. शैंकी ने बताया कि प्रतियोगिता के दिनों में गाय को अकेले में खुले स्थान पर रखा जाता है. इनको पीने के लिए साफ और ताजा पानी दिया जाता है. वहीं, साफ- सफाई का भी विशेष ध्यान रखा जाता है.

हिंदुस्तान का गौरव बढ़ाया

पशुपालक सुनील ने बताया कि भारत में दुग्ध उत्पादन बढ़ाने में HF नस्ल की गायों की महत्वपूर्ण भूमिका रही है. ये पशुपालकों के लिए बहुत ही बड़ा वरदान है कि इतनी ज्यादा मात्रा में दूध देने वाली नस्ल उनके अपने देश हिंदुस्तान में हैं. उन्होंने कहा कि एशिया में गाय के प्रथम आने के चलते सिर्फ उनका ही बल्कि पूरे हिन्दुस्तान के लोगों का गौरव बढ़ा है. इससे पहले एशिया में 24 घंटे में सबसे ज्यादा 72 लीटर दूध देने का रिकॉर्ड था लेकिन हमारी शकीरा ने इस रिकॉर्ड को पीछे छोड़ दिया है और इस बात की उन्हें अपार खुशी है.

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