स्टेप-वन NGO ने उठाया कोरोना मरीजों की देख रेख का जिम्मा, जाने

कुरुक्षेत्र I हरियाणा में कोरोना संक्रमण रुकने का नाम नही ले रहा है. अब तक हरियाणा में कोरोना मरीज़ों का इलाज मुख्यतः सरकारी अस्पतालों व संस्थाओं द्वारा किया जाता था. लेकिन अब कोरोना मरीज़ों की देख रेख “स्टेप-वन” NGO करेगी. सरकार ने NGO से साथ समझौता किया है , व सरकार ने समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर भी कर दिए हैं. स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने उचाना में स्थापित की गई कोविड-19 मॉलिक्यूलर लैब का दुष्यंत चौटाला की उपस्थिति में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उद्धघाटन किया है. उप-मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री ने ‘संशोधित गृह एकांतवास प्रोटोकॉल’ भी लागू किया है.

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NGO की विशेषता
सुचिन बजाज NGO स्टेप वन के अध्यक्ष, ने बताया है कि NGO के अंडर 7 हज़ार से ज्यादा डॉक्टरस, 2 हजार मेडिकल छात्र, नर्से व अन्य स्वयंसेवक हैं, जो देश के 16 राज्यों में सेवाएं प्रदान कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि मरीजों की सुविधा के लिए सभी कार्यकर्ता टेलीफोन, वॉयस एवं वेब टेली-स्क्रीन व अन्य माध्यमों द्वारा मरीजो से संपर्क करते हैं और मरीजों की मदद के लिए हर वक्त तत्पर रहते हैं. NGO द्वारा गुरुग्राम के प्लाज्मा बैंक में भी सहायता पहुंचाई जा रही है। फरीदाबाद, करनाल और पंचकूला में भी सहयोग किया जाएगा.

राज्य में बढ़ेगी कोरोना जांच केंद्रों की संख्या
स्वास्थ्य मंत्री ने बताया है कि अब तक 14 सरकारी अस्पतालों व मेडिकल कॉलेजों में काफी कोविड-19 टेस्ट लैब्स बन चुकी हैं. इन लैब्स में 13350 कोरोना टेस्ट रोज़ किए जाते हैं. हरियाणा के निजी अस्पतालों में भी कोरोना जांच की सुविधा उपलब्ध है. 6 निजी अस्पताल प्रतिदिन 5620 कोरोना टेस्ट की सुविधा दे रहे हैं. सरकार ने राज्य के अन्य जिलों में भी ऐसी लैब्स बनाने का लक्ष्य रखा है. जल्द ही भिवानी, यमुनानगर व पानीपत में कोविड-19 टेस्ट लैब बनाई जाएंगी.

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