हरियाणा में फिर पराली जलाने के आ रहे मामले, इन जिलों को येलो और रेड जोन में किया शामिल

चंडीगढ़ | सरकार के तमाम प्रयास के बाद भी पराली जलाने के मामले हर साल सामने आते हैं. हरियाणा में एक बार फिर जगह- जगह पराली जलाने के मामले सामने आने लगे हैं. राज्य सरकार ने रेड जोन में शामिल 147 और येलो जोन में शामिल 582 गांवों में निगरानी बढ़ाने के निर्देश दिए हैं. बता दें कि खासकर फतेहाबाद, कैथल, जींद, सिरसा, कुरूक्षेत्र, करनाल, अंबाला, यमुनानगर और हिसार के उपायुक्तों को तत्काल प्रभाव से उन गांव, ब्लॉक, उपमंडल और जिला स्तर पर समितियां बनाने के निर्देश दिए गए हैं, जहां पिछले साल सबसे ज्यादा पराली जलाई गई थी.

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सरकार की कोशिशों का दिख रहा असर

किसानों को पराली जलाने से रोकने के लिए सरकार द्वारा उठाए गए ठोस कदमों के कारण 2021 की तुलना में 2022 में राज्य में पराली जलाने के मामलों में लगभग 50 प्रतिशत की गिरावट आई है. पिछले साल पराली जलाने के 3,661 मामले दर्ज किए गए थे. 2021 में 6,987 मामले सामने आए थे. कृषि विभाग किसानों के बीच इन- सीटू और एक्स- सीटू प्रबंधन प्रणालियों को बढ़ावा देकर सूक्ष्म स्तर की निगरानी पर काम कर रहा है.

बीजेपी प्रदेश प्रभारी बिप्लब देब ने कही ये बात

बीजेपी प्रदेश प्रभारी बिप्लब देब ने किसानों से बात की और पराली प्रबंधन को लेकर उनकी गंभीरता पर खुशी जताई. हरियाणा में किसानों को पराली प्रबंधन के लिए प्रति एकड़ 1,000 रुपये की प्रोत्साहन राशि दी जा रही है. कहीं भी पराली न जलाने देने पर रेड जोन की पंचायतों को एक लाख रुपये और येलो जोन में 50 हजार रुपये का इनाम दिया जाएगा.

जुर्माने से लेकर सजा तक का है प्रावधान

कहीं भी पराली जलाने की शिकायत मिलते ही तत्काल कार्रवाई की गई है, जिसमें जुर्माने से लेकर सजा तक का प्रावधान है। पिछले वर्ष के सक्रिय अग्नि स्थान के आधार पर हरियाणा अंतरिक्ष उपयोग केंद्र द्वारा एकत्र किए गए आंकड़ों के आधार पर कृषि विभाग ने गांवों को रेड और येलो क्षेत्रों में विभाजित किया है. जिन गांवों में 6 या अधिक स्थानों पर पराली जलाई गई थी, उन्हें रेड जोन में शामिल किया गया है जबकि जिन गांवों में दो से पांच स्थानों पर पराली जलाई गई थी, उन्हें येलो जोन में शामिल किया गया है.

ये है रेड जोन के 147 गांव

  • फतेहाबाद के 49
  • कैथल के 36
  • जींद के 24
  • सिरसा के 11
  • करनाल के 10
  • कुरूक्षेत्र के 6
  • हिसार के तीन
  • अंबाला, पलवल और रोहतक के दो- दो
  • पानीपत और सोनीपत का एक- एक गांव

येलो जोन के जिले

  • कैथल में 107
  • फतेहाबाद में 74
  • जींद में 72
  • कुरूक्षेत्र में 65
  • करनाल में 54
  • सिरसा में 56
  • अंबाला में 45
  • यमुनानगर में 30
  • हिसार में 22
  • सोनीपत में 16
  • पानीपत में 18
  • रोहतक 13
  • पलवल के 9
  • भिवानी का 1

पिछले साल खेतों में आग लगने के सबसे ज्यादा मामले

  • फतेहाबाद में 767
  • कैथल में 641
  • जींद में 533
  • सिरसा में 305
  • कुरूक्षेत्र में 302
  • करनाल में 301
  • अंबाला में 226
  • यमुनानगर में 155
  • हिसार में 115

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