किसानों के खिलाफ दर्ज मामले कब लिएं जाएंगे वापस, हरियाणा के सीएम खट्टर ने साफ की स्थिति

चंडीगढ़ । मोदी सरकार ने तीनों विवादित कृषि कानूनों को भले ही वापस ले लिया हो लेकिन दिल्ली की सीमाओं पर किसानों का आंदोलन अभी भी जारी है. किसान नेताओं ने स्पष्ट कर दिया है कि MSP गारंटी कानून और आंदोलनकारी किसानों पर दर्ज मुकदमे वापस लेने की मांग जब तक पूरी नहीं हो जाती,तब तक आंदोलन जारी रहेगा.

Kisan Andolan Farmer Protest

इस बीच, हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल का एक बड़ा बयान सामने आया है. उन्होंने कहा है कि कृषि कानूनों का समाधान होने के बाद केन्द्र सरकार के निर्देशानुसार उनकी सरकार किसानों के खिलाफ दर्ज मुकदमे वापस लेने का निर्णय करेगी.

हालांकि किसानों के खिलाफ दर्ज मुकदमे वापस लेने के मामले को लेकर केन्द्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने स्पष्ट किया था कि तीन नए कृषि कानूनों के विरोध में प्रदर्शन कर रहे किसानों के खिलाफ दर्ज मुकदमे वापस लेना राज्य सरकारों के अधीन क्षेत्र में हैं और उन्हें इस पर निर्णय करना होगा. बता दें कि संसद के शीतकालीन सत्र में कृषि कानूनों को वापिस लेने के लिए सरकार द्वारा आज एक विधेयक लाया गया जो लोकसभा में पास हो गया.

टिकैत ने एमएसपी गारंटी कानून की बात दोहराई

लोकसभा में कृषि कानून वापसी बिल पारित होने पर किसान नेता राकेश टिकैत ने खुशी जाहिर की है. उन्होंने कहा कि किसानों की और भी मांगे हैं जिन्हें सरकार पूरी करें. राकेश टिकैत ने कहा कि एमएसपी एक बड़ा मुद्दा है,उस पर सरकार बातचीत करें. उन्होंने कहा कि लोकसभा में कृषि कानून वापसी बिल पास हो गया है और अब दूसरे मुद्दों पर भी केन्द्र सरकार बातचीत करें. संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा है कि आंदोलन अभी खत्म नहीं होगा जब तक एमएसपी गारंटी कानून नहीं बन जाता.

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