मोदी सरकार ने तोड़ी केंद्रीय कर्मचारियों की उम्मीदें, 8वें वेतन आयोग के गठन पर कही ये बात

नई दिल्ली | 8वें वेतन आयोग के गठन का इंतजार कर रहे केंद्रीय कर्मचारियों की उम्मीदों को मोदी सरकार (Modi Govt) ने झटका दिया है. इस संबंध में राज्यसभा में प्रश्नकाल में पूछे गए सवाल के जवाब में वित्त राज्यमंत्री पंकज चौधरी ने कहा सरकार के सामने फिलहाल ऐसा कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है.

PM Narendra Modi

वित्त राज्यमंत्री ने दिया ये जवाब

प्रश्नकाल के दौरान राज्यसभा सदस्य रामनाथ ठाकुर ने वित्त मंत्री से सवाल किया कि 7वें वेतन आयोग के पैरा 1.22 पर विचार ना करने और उसे अनुमोदित नहीं किए जाने की क्या वजहें फाइलों में दर्ज की गई है. इसके जवाब में वित्त राज्यमंत्री ने कहा कि 7वें वेतन आयोग के आधार पर वेतन और भत्तों में संशोधन पर मंजूरी देते समय केंद्रीय कैबिनेट ने इस मामले पर विचार नहीं किया है.

7वें वेतन आयोग के रिपोर्ट के पैरा 1.22 में 5 वर्ष के बाद फिटमेंट फैक्टर की समीक्षा करने की सिफारिश की गई है, जिससे केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन बढ़ोतरी का रास्ता साफ हो सकेगा. लेकिन सरकार इसे लागू करने से बचती आ रही है.

दुनिया की 5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होने का दावा

वित्त मंत्री से ये भी पूछा गया कि 8वें वेतन आयोग का गठन इसलिए तो नहीं किया जा रहा क्योंकि सरकार वेतन आयोग के भार को वहन की हालत में नहीं है. दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्ता होने का दावा करने वाली सरकार पिछले 30 सालों से महंगाई का सामना कर रहे केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन की समीक्षा के लिए आठवें वेतन आयोग का गठन नहीं कर रही है. इस सवाल के जवाब में वित्त राज्यमंत्री ने कि सरकार के सामने ऐसा कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है.

गौरतलब है कि हर 10 साल बाद सरकारी कर्मचारियों के वेतन और पेंशनर्स की पेंशन में बढ़ोतरी के लिए सरकार नए वेतन आयोग का गठन करती है. वेतन आयोग को अपनी रिपोर्ट और सिफारिशें जमा करने के लिए 18 महीने का समय दिया जाता है. 7वें वेतन आयोग का गठन 2014 में किया गया था और उसकी सिफारिशों को एक जनवरी 2016 से लागू किया गया था.

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