हिसार टोल प्लाजा पर किसानों ने फिर डाला डेरा, टोल प्रबंधन से की हैं यह मांग

हिसार । तीनों कृषि कानूनों के विरोध में किसानों के विरोध प्रदर्शन के चलते पिछले एक साल से बंद रहा हिसार- दिल्ली नेशनल हाईवे-9 पर स्थित रामायण टोल प्लाजा पर सोमवार को एक बार फिर विवाद की स्थिति उत्पन्न हो गई. टोल प्लाजा के नजदीकी गांवों के वाहनों से टोल वसूलने की सूचना जैसे ही किसानों को मिली, सैकड़ों की संख्या में किसान टोल प्लाजा पर इकट्ठा हो गए. किसानों ने टोल प्लाजा शुरू नहीं होने दिया और वही पर विरोध करते हुए अपना डेरा जमा लिया.

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सोमवार को टोल प्लाजा के एक साल बाद फिर से शुरू होने पर टोल वसूली का काम जारी था. मगर टोल के नजदीक लगते गांवों के वाहनों से जैसे ही टोल वसूली की सूचना किसानों को मिली तो किसान आक्रोशित हो गए. किसानों ने टोल पर पहुंचकर टोल प्रबंधन से बातचीत की और कहा कि अगर भगाना व देपल गांव के वाहनों से टोल टैक्स वसूला गया तो वह आंदोलन फिर से शुरू कर देंगे.

किसान यूनियन के जिला अध्यक्ष कुलदीप खरड़ व दशरथ मलिक ने कहा कि हमने निर्णय लिया हैं कि टोल प्लाजा के 7-8 किलोमीटर के दायरे में आने वाले गांवों के लोगों को अपने निजी वाहन पर किसी तरह का टोल वसूलने नहीं देंगे. उन्होंने टोल प्रबंधन को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर उनकी मांग नहीं मानी गई तो वह 15 किलोमीटर के दायरे में बसे सभी गांवों के वाहनों के टोल फ्री करवाने का काम करेंगे.

कुलदीप खरड़ ने कहा कि NHAI के नियमानुसार 20 किलोमीटर के क्षेत्र के लोगों का टोल पास बनता है. वहीं इसके साथ ही पीछे जो टोल दरे निर्धारित की गई थी उसी के हिसाब से टोल टैक्स वसूला जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर उनकी मांगों पर जल्द सुनवाई नहीं की गई तो वे टोल प्लाजा पर जाम लगाकर नेशनल हाईवे को बंद करने का फैसला लेंगे.

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